फोटो स्टूडियो आग लगी
अंबरनाथ। अंबरनाथ में एक फोटो स्टूडियो में आग लग गई, जिससे स्टूडियो को बड़ा नुकसान हुआ। समय रहते फायर ब्रिगेड ने मौके पर पहुंचकर आग को काबू में किया जिसे एक बड़ा हादसा टल गया। मिली जानकारी के अनुसार शुक्रवार रात 11 बजे अंबरनाथ पश्चिम, चिंचपाड़ा इलाके में प्रिंस फोटो स्टूडियो में शॉर्ट सर्किट के कारण आग लग गई। इमारत के तल मंजिल पर स्थित स्टूडियो में आग लगने से इमारत में यह आग फैलने की आशंका उत्पन्न हो गई थी। फायर ऑफिसर भागवत सोनोने ने कहा कि घटना की जानकारी मिलते ही अंबरनाथ फायर ब्रिगेड के प्रमुख फायरमैन डी.बोरसे, किशोर भोर, यूसुफ शेख, अशोक धांडे और अन्य कर्मी घटनास्थल पर पहुंचे और आग को बुझाया। उन्होंने कहा कि इस आगजनि में कोई हताहत नहीं हुआ है।
पूर्व नगरसेवक बाला गायकवाड़ का निधन
अंबरनाथ। अंबरनाथ नगर परिषद के पूर्व नगरसेवक अजीत उर्फ बाला दत्ताराम गायकवाड़ का शुक्रवार शाम दिल का दौरा पड़ने से निधन हो गया। वे ४९ वर्ष के थे।
निर्दलीय चुनकर आये बाला गायकवाड़ एक साल के लिए अंबरनाथ नपा के बांधकाम सभापति का पद संभाला था। अगले आम चुनाव में उनका वार्ड महिलाओं के लिए आरक्षित था, इसलिए उन्होंने अपनी पत्नी दीपा गायकवाड़ को भाजपा से चुनावी मैदान में उतारा था और वो चुनकर आई। बाला गायकवाड़ का शनिवार सुबह 11 बजे अंबरनाथ (पश्चिम) के स्मशानभूमि में अंतिम संस्कार किया गया. इस दौरान विभिन्न राजनीतिक दलों के नेता, सामाजिक कार्यकर्ता, पत्रकार और वांद्रापाडा क्षेत्र के कई नागरिक मौजूद थे।
बेलवली स्मशान भूमि के लिए वैकल्पिक मार्ग देने की मांग
बदलापुर। बदलापुर के बेलवली पश्चिम में स्मशानभूमि के लिए एक वैकल्पिक सड़क देने की मांग भाजपा ओबीसी मोर्चा के शहर अध्यक्ष गणेश भोपी ने रेलवे प्रशासन से की है। उन्होंने यह भी चेतावनी दी कि यदि इस संबंध में कोई कार्रवाई नहीं की जाती है, तो ग्रामीणों को उनके क्रोध का सामना करना पड़ेगा। गणेश भोपी ने शनिवार सुबह यह चेतावनी बदलापुर रेलवे स्टेशन मास्टर को दिए एक निवेदन में दी है। आपको बता दें कि बेलवली क्षेत्र के लिए बेलवली रेलवे क्रॉसिंग के पास बदलापुर पूर्व में केवल एक स्मशान भूमि है। बेलवली क्षेत्र के नागरिक पिछले 100 वर्षों से इस स्मशान भूमि का उपयोग कर रहे हैं। स्मशान भूमि तक पहुंचने के लिए क्षेत्र के नागरिकों के लिए एकमात्र विकल्प बेलवली से पूर्व की ओर जाने वाली रेलवे लाइन के नीचे और रेलवे क्रॉसिंग के माध्यम से रेलवे लाइन को पार करना है। यह बहुत उपयोगी नहीं है क्योंकि रेलवे पटरियों के नीचे सबवे (भूमिगत मार्ग) में साल भर पानी जमा रहता है। इसमें रेलवे प्रशासन ने रेल पटरियों के किनारे एक दीवार खड़ी करने का काम शुरू किया है। इसलिए इस स्मशान भूमि में अंतिम संस्कार के लिए जाने वाले नागरिकों को बड़ी असुविधा होगी। इस बात को ध्यान में रखते हुए स्थानीय लोग मांग कर रहे हैं कि रेलवे प्रशासन स्मशान भूमि के लिए एक वैकल्पिक मार्ग प्रदान करे। इसलिए, शनिवार को वह भाजपा ओबीसी मोर्चा की ओर से बदलापुर स्टेशन मास्टर से मिले। गणेश भोपी ने कहा कि दिए गए निवेदन के माध्यम से ग्रामीणों की समस्या को उनके संज्ञान में लाया गया। भोपी ने यह भी चेतावनी दी कि यदि एक वैकल्पिक सड़क प्रदान नहीं की जाती है, तो ग्रामीणों को उनके क्रोध का सामना करना पड़ेगा।
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