उल्हासनगर। उल्हासनगर ट्रेड असोसिएशन (यूटीए) के कार्याध्यक्ष दीपक छतलानी ने उल्हासनगर में कोरोना महामारी के प्रति लापरवाही बरतने वाले लोगों को सचेत करते हुए कहा है कि अब भी वक्त है, संभाल जाओ अन्यथा आपके घर के बुजुर्गों को अगर ये महामारी हो गयी तो अपने आप को कभी माफ़ नहीं कर पाओगे। दरअसल कोरोना के संक्रमण को रोकने के लिए देशभर में २२ मार्च से लॉक डाउन है. लोग अपने घरों में बंद हैं. सभी व्यापार-उद्योग और दफ्तर बंद है. लेकिन उल्हासनगर में शुरुआत से ही ये देखा जा रहा है कि कुछ ऐसे भी लोग हैं जो कोरोना के प्रति लापरवाही बरत रहे हैं. वे बिंदास सड़कों पर घूमते हैं और भीड़ लगाकर कहीं भी गप्पे मारते हैं. आज आलम यह है कि जिस उल्हासनगर शहर में २५ अप्रैल तक कोरोना के ५-६ मामले थे वो मात्र २० दिनों में १०० का आंकड़ा पार कर गया है और हर रोज इसमें ५ से १० मरीजों का इजाफा देखा जा रहा है. उल्हासनगर में कोरोना के बढ़ते प्रकोप से चिंतित युवा समाजसेवी और यूटीए के कार्याध्यक्ष दीपक छतलानी ने शनिवार को सोशल मीडिया पर एक मार्मिक चेतावनी उन लापरवाह लोगों को सचेत करने के लिए पोस्ट की है जो इस महामारी के प्रति गंभीर नहीं हैं. आइये आपको बताते हैं कि श्री छतलानी ने क्या अपील की है-
शनिवार को कोविड-19 के १०३ केसेस हो चुके हैं और ५ लोगों की मृत्यु हो गई है. और हम अभी तक घर से बाहर चक्कर मारने निकल रहे हैं, कामवाली बाई अभी तक हमारे घर पे आ रही है, घर में दोस्त और मेहमान आ रहे हैं, बाहर से नास्ते का पार्सल आ रहा है, कुछ लोग जुआ खेल रहे हैं, दोस्तों को बुलाकर दारू की पार्टी कर रहे हैं, कुछ लोग मास्क नहीं पहन रहे हैं, बिना सेफ्टी के घर से सामान बेच रहे हैं, अपने दुकान पर भीड़ कर रहे हैं, आखिर ये सब कब बंद करोगे ? जब तुमको भी हो जाएगी बीमारी, हो सकता है की तुम ठीक भी हो जाओ लेकिन आपके घर के बुजुर्गों की सोचो, उनको हो गयी तो अपने आप को कभी माफ़ नहीं कर पाओगे। उल्हासनगर मनपा और पुलिस अपना काम कर रही है, उनको सपोर्ट करो.
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